ऑर्थोपेडिक सर्जरी में रोबोटिक सर्जरी है वरदान
आर्थ्रोस्कॉपी एवं स्पोर्ट्स इंजरी सेंटर के प्रसिद्ध रोबोटिक सर्जन डॉक्टर राजीव गुप्ता कहते हैं कि
रोबोटिक ऑर्थोपेडिक सर्जरी आमतौर पर जोड़ों की समस्याओं के इलाज में फायदेमंद साबित हो सकती है, जैसे कि घुटने या कूल्हों की जोड़ों के उपचार में। यह तकनीक परंपरागत शल्य चिकित्सा उपचार की तुलना में अत्यंत सहज और और आरामदायक है। जिससे रोगियों की आरामदायक गतिविधियों की शीघ्रता बढ़ सकती है।
हर आर्थो सर्जन रोबोटिक सर्जरी नहीं कर सकता है क्योंकि
रोबोटिक ऑर्थोपेडिक सर्जरी कुछ कठिन और विशिष्ट प्रक्रिया के अंतर्गत होती है जिसमें एक चिकित्सक एक रोबोटिक सिस्टम का उपयोग करते हुए शल्यक्रिया करता है।
1. सबसे पहले इसके अंतर्गत यह भी देखा जाता है कि मरीज को वाकई सर्जरी की जरूरत है या नहीं
2. रोबोटिक सिस्टम को आर्थो सर्जन द्वारा नियंत्रित किया जाता है, जो उपयुक्त संवाद के साथ सिस्टम को दिशा निर्देश देते हैं।
3. रोबोटिक सिस्टम पद्वति को रोगी के शरीर की स्वरूप, आकार और गतिविधियों के अनुसार तैयार किया जाता है।
4. निगरानी और नियंत्रण अत्यंत महत्वपूर्ण है सर्जरी के दौरान।
5. रोबोटिक सिस्टम के प्रयोग से रोगियों की सर्जरी के बाद की आरामदायक रिकवरी की संभावना बढ़ सकती है।
रोबोटिक ऑर्थोपेडिक सर्जरी मानव चिकित्सा की प्रगति का जीवंत उदाहरण है और आज हमारे देश द्वारा चंद्रयान को चंद्रमा की धरती पर प्रवेश कराना भी रोबोट तकनीक से ही संभव हुआ है।
संपर्क सूत्र डॉक्टर राजीव गुप्ता 94149 80697