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राजस्थली एम्पोरियम अब नए अंदाज और विविधता में प्रस्तुत : ई-न्यू भारत द्वारा भव्य उद्घाटन  

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राजस्थली एम्पोरियम अब नए अंदाज और विविधता में प्रस्तुत : ई-न्यू भारत द्वारा भव्य उद्घाटन

 

जयपुर, 12 फरवरी 25 : राजस्थान की समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर और पारंपरिक हस्तशिल्प को वैश्विक मंच पर पहचान दिलाने के उद्देश्य से ‘ई-न्यू भारत’ द्वारा ‘राजस्थली एम्पोरियम’ का सौंदर्यकरण एवं नवीनकरण किया गया है। इस पहल का भव्य उद्घाटन माननीय राज्यपाल महोदय की गरिमामयी उपस्थिति में हुआ। उद्घाटन समारोह में विशेष अतिथि के रूप में राजकुमारी दीया कुमारी और श्री प्रेमचंद बैरवा भी उपस्थित रहे, जिन्होंने इस अभिनव पहल की सराहना की।

उद्घाटन समारोह की शुरुआत पारंपरिक राजस्थानी लोक संगीत और नृत्य से हुई, जिसने आगंतुकों को राजस्थान की सांस्कृतिक विविधता और समृद्धि का अनुभव कराया। इसके बाद माननीय राज्यपाल महोदय ने विधिवत रूप से फीता काटकर ‘राजस्थली एम्पोरियम’ के नवीन रूप का उद्घाटन किया। समारोह में जयपुर के प्रतिष्ठित हस्तशिल्प कारीगर, सांस्कृतिक विशेषज्ञ, स्थानीय गणमान्य व्यक्ति, और कला प्रेमी बड़ी संख्या में उपस्थित रहे।

माननीय राज्यपाल महोदय ने अपने संबोधन में कहा, “राजस्थली एम्पोरियम का यह नया रूप न केवल राजस्थान की सांस्कृतिक धरोहर को संजोएगा, बल्कि राज्य के हस्तशिल्प को अंतर्राष्ट्रीय पहचान दिलाने में सहायक सिद्ध होगा। ई-न्यू भारत की यह पहल हमारे कुशल कारीगरों और कलाकारों को वैश्विक मंच पर लाने का सराहनीय प्रयास है।”

उपमुख्यमंत्री राजकुमारी दीया कुमारी ने अपने उद्बोधन में कहा, “राजस्थली एम्पोरियम का सौंदर्यकरण एवं नवीनकरण आधुनिकता और परंपरा का सुंदर संगम है। यह पहल न केवल कला प्रेमियों को आकर्षित करेगी, बल्कि हमारे पारंपरिक शिल्प को भी संरक्षित और प्रोत्साहित करेगी।

श्री प्रेमचंद बैरवा ने अपने विचार साझा करते हुए कहा, यह कदम राज्य की सांस्कृतिक धरोहर को सहेजने की दिशा में महत्वपूर्ण है।

ई-न्यू भारत की सोच और उद्देश्य :

ई-न्यू भारत की डायरेक्टर, सुश्री माया ठाकुर ने इस अवसर पर कहा, इस पहल से हमारा उद्देश्य राजस्थान के पारंपरिक हस्तशिल्प को वैश्विक पहचान दिलाना है। राजस्थली के इस नए रूप से न केवल पर्यटकों को एक अनोखा अनुभव मिलेगा, बल्कि यह राज्य की कला एवं संस्कृति को बढ़ावा देने में भी सहायक सिद्ध होगा।

उन्होंने यह भी बताया कि ‘ई-न्यू भारत’ कारीगरों को डिजिटल मंच के माध्यम से सशक्त बनाकर उनकी कला को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय बाजारों तक पहुँचाने के लिए प्रतिबद्ध है। यह पहल ‘वोकल फॉर लोकल’ को सशक्त बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।

– इस एंपोरियम को देखने से लगता है कि यह एंपोरियम आधुनिक डिजाइन और पारंपरिक सौंदर्य का संगम है। एम्पोरियम को आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित किया गया है।

डिजिटल इंटरेक्टिव डिस्प्ले : इस एंपोरियम में आगंतुकों को उत्पादों के बारे में विस्तृत जानकारी और उनकी निर्माण प्रक्रिया को समझने के लिए डिजिटल डिस्प्ले और इंटरेक्टिव वीडियो की व्यवस्था की गई है।

यहां प्राकृतिक रोशनी और ओपन स्पेस डिज़ाइन है कि प्राकृतिक रोशनी का भरपूर उपयोग हो सके, जिससे ऊर्जा की बचत हो और प्रदर्शित वस्तुओं की सुंदरता उभरकर आए।

उद्घाटन समारोह में राजस्थान की परंपरागत कला और शिल्प को प्रदर्शित करने के लिए विशेष प्रदर्शनी का आयोजन किया गया, जिसमें ब्लू पॉटरी, बांधनी, ज़री-ज़रदोज़ी, लकड़ी की नक्काशी, और राजस्थानी गहनों की विशेष झलक देखने को मिली।

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